Jammu: माता के दरबार वैष्णो देवी यात्रा में श्रद्धालुओं को ले जाने वाले घोड़ा, पिट्ठू और पालकी मजदूर प्रीपेड सिस्टम में नंबर सिस्टम लागू करने के विरोध में हड़ताल पर चले गए हैं. माता के दर्शन के लिए आने वाले श्रद्धालुओं को व्यवस्थित सुविधा मुहैया कराने के लिए कुछ वर्षों पहले घोड़ा, पिट्ठू और पालकी की सेवा के लिए प्रीपेड सिस्टम लागू किया गया था. इस सिस्टम में कुछ कमियों के चलते यात्रियों को परेशानियां आ रहीं है. इसके चलते मां वैष्णो देवी के दर्शन के लिए आने वाले श्रद्धालुओं को पैदल ही भवन की ओर प्रस्थान करना पड़ रहा है. हड़ताल करने वाले मजदूरों का कहना है कि जब तक इस फैसले को वापस नहीं लिया जाता वे काम नहीं शुरू करेंगे.
क्यूं शुरू हुआ नंबर सिस्टम?
वैष्णो देवी के दरबार में घोड़ा, पिट्ठू और पालकी की सेवा के लिए यात्री खुद ही मजदूर से बात करते हैं और काउंटर पर आकर प्रीपेड पर्ची कटवाते हैं. इसमें अधिकांश मजदूर यात्रियों से अधिक दाम वसूल रहे थे. श्राइन बोर्ड को इसकी लगातार शिकायतें मिल रही थीं. श्राइन बोर्ड ने इस समस्या से निपटने के लिए प्रत्येक प्रीपेड काउंटर पर घोड़ा, पिट्ठू और पालकी के लिए हाल ही में नंबर सिस्टम शुरू कर दिया.
क्या कह रहे हैं मजदूर?
श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए स्थानीय प्रशासन ने श्राइन बोर्ड के साथ मिल कर यह फैसला लागू किया है. इस व्यवस्था से नाराज मजदूरों ने काम बंद कर दिया है.मजदूर नेता का कहना है कि, प्रशासन चाहे पिट्ठू और पालकी का नंबर सिस्टम रखे, परंतु घोड़े का नंबर सिस्टम रखना जायज नहीं है. क्योंकि, इसकी कोई गारंटी नहीं है कि घोड़ा चालक को तुरंत सवारी मिल सके. कई बार 2 से 3 घंटे तक भी इंतजार करना पड़ता है. इतनी देर तक मजदूर अपने घोड़े के साथ इंतजार नहीं कर सकता. अगर कोई मजदूर यात्री से अधिक दाम वसूलता है तो उसके विरुद्ध कड़ी कार्रवाई की जाए और उसका पहचान पत्र समाप्त किया जाए.
श्राइन बोर्ड के अधिकारियों के साथ बातचीत करेगा प्रशासन
मजदूर नेता भूपेंद्र सिंह के नेतृत्व में मजदूरों ने एसडीएम कार्यालय में प्रदर्शन किया और एसडीएम से मांग की कि इस आदेश को वापस लिया जाए. फिलहाल मजदूरों की हड़ताल जारी है. मजदूरों की हड़ताल के बाद यात्रियों की परेशानी पर प्रशासन ने कहा है कि, मजदूरों को भी कोई परेशानी न हो, इसको लेकर श्राइन बोर्ड अधिकारियों के साथ फिर से बात की जाएगी.